#दिल्ली सरकार ने स्कूलों में देशभक्ति पाठ्यक्रम की शुरूआत कर दी है। पाठ्यक्रम को स्कूलों में सही रूप से संचालित करने के लिए तीन नोडल ऑफिसर नियुक्त किए जाएंगे जो देशभक्ति पाठ्यक्रम का स्कूलों में सुचारू संचालन का आकलन करेंगे। ैब्म्त्ज् की तरफ से 29 सितंबर से 5 अक्तूबर के बीच नोडल शिक्षकों के लिए ओरिएंटेशन सत्र आयोजित किया जाएगा।
नयी दिल्ली। दिल्ली सरकार ने स्कूलों में देशभक्ति पाठ्यक्रम की शुरुआत कर दी है। पाठ्यक्रम को स्कूलों में सही रूप से संचालित करने के लिए तीन नोडल ऑफिसर नियुक्त किए जाएंगे जो देशभक्ति पाठ्यक्रम का स्कूलों में सुचारु संचालन का आकलन करेंगे। एससीईआरटी की तरफ से 29 सितंबर से 5 अक्तूबर के बीच नोडल शिक्षकों के लिए ओरिएंटेशन सत्र आयोजित किया जाएगा। दिल्ली के स्कूलो में सरकार की ओर से शुरू होने वाली देशभक्ति की पढ़ाई में पहले 5 मिनिट की अवधि में ध्यान लगाया जाएगा। 5 मिनिट ध्यान लगाने के बाद बच्चों में संवैझानिक मूल्यों के प्रति सम्मान और गहरी भावना को विकसित करने के साथ-साथ समानता और बंधुत्व जैसे विषयों की गहरी समझ बनाने और बच्चों में इनके प्रति आदर सम्मान विकसित करने के लिए देशभरक्ति पाठ्यक्रम पूरी करह तैयार है।
आपको बताते चलें कि मंगलवार के दिन शहीद भगत सिंह की जयंती के मौके पर मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने छात्र स्टेडियम से एक कार्यक्रम के दौरान इस पाठ्यक्रम को लॉन्च किया। इसके बाद भी इस पाठ्यक्रम को नर्सरी से आठवीं तक के बाद आगे और नौवीं से बारहवीं तक की कक्षाओं में भी लागू किया जाएगा। स्कूलों में कक्षाएं शुरू होने के साथ ही इसकी पढ़ाई भी शुरू हो जाएगी। नर्सरी क्लास से 8वीं तक की कक्षाओं में हर दिन देशभक्ति का एक पीरियड लगेगा। इसके साथ नौवीं से 12वीं तक की क्लासों के बच्चों को सप्ताह में दो पीरियड देशभक्ति पाठ्यक्रम के तहत लगेंगे। शुरुआत में इन पीरियड की क्लास पांच मिनट के देशभक्ति ध्यान से होगी। इसमें शिक्षक व छात्र दोनों ही माइंडफुलनेस का अभ्यास करेंगे और स्वतंत्रता सेनानियों के लिए आभार प्रकट करने के साथ देश के सम्मान की शपथ भी लेंगे।
मालूम हो कि एससीईआरटी की गर्वनिंग काउंसिल ने 6 अगस्त को देशभक्ति पाठ्यक्रम का पहले फ्रेमवर्क अपनाया था जिसके बाद इस फ्रेमवर्क के आधार पर शिक्षकों के कोर ग्रुप ने देशभक्ति पाठ्यक्रम को विकसित किया। दिल्ली सरकार अब इस देशभक्ति पाठ्यक्रम को सभी स्कूलों में लागू करने के लिए तैयार है। जैसा कि मालूम है कि अभी दिल्ली में 9वीं कक्षा से 12वीं तक के ही छात्रों को स्कूल आने की अनुमति है। ऐसे में उम्मीद लगाई जा सकती है कि फिलहाल इन्हीं कक्षाओं में इस पाठ्यक्रम की पढ़ाई होगी। जब सभी कक्षाओं के लिए स्कूल खुल जाएंगे तब अन्य कक्षाओं में इसकी पढ़ाई की शुरूआत हो जाएगी।